अहमदाबाद : राजस्व आसूचना निदेशालय ने पीपावाव बंदरगाह पर दबिश देकर पुराने और यूज्ड मल्टी फंक्शनल डिजीटल छिवाइस की तस्करी का पर्दाफाश कर दस करोड़ रुपए का माल जब्त किया। तस्करी के आरोप में कस्टम हाउस एजेंट समेत तीन लोगों को गिरफतार किया गया। डीआरआई-जोनल यूनिट को जानकारी मिली थी कि विदेशी व्यापारिक नीति एवं भारतीय मानक ब्यारो एवं जोखिम कारक पदार्थ के प्रावधानों को दरकिनार कर पुराने एवं उपयोगी बहुहृेश्यीय डिवाइसेज जैसे कि फोटोकांपी, प्रिन्टर और प्लोटर्स का आयात किए जाते हैं, जिसमें आयातक के साथ कन्टेनर फ्रेंट स्टेशन मैनेजर, कस्टम हाउस एजेंट लिप्त हैंै। इसके आलावा नीति प्रावधानों का पालन किए बगैर ही चालीस फीट के बारह कन्टेनों को का माल क्लियर कर दिया गया। बाद में डीआरआई-अहमदाबाद और डीआरआई- जामनगर की टीमों ने निगरानी कर पीपावाव बंदरगाह पर कंट्रान्स लांजिस्टिकस सीएफएफ पर छापा मारकर पुराने और अनुपयोगी बहुहृेश्यीय डिजिटल डिवाइसेज के चालीस फीट के दस कन्टेनर जब्त किए। दस कन्टेनरों में से चार कन्टेनरों में डिवाइसेज के बजाय पार्ट्स और एसंसरीज दर्शाकर कस्टम क्लीयरंस दिया गया था। जबकि छह कन्टेनरों के लिए भी ऐसी ही प्रक्रिया की जा रही थी। इन सभी कन्टेनरों में दो हजार से जयादा डिजीटल डिवाइसेज थे, जिनका मूल्य दस करोड़ रुपए आंका जा रहा है। फिलहाल डीआरआई ने तीन लोग गिरफतार कर अदालत पेश किया। जहां से उनको न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। पीपावाव कस्टम से कई अधिकारीयों का तबादला कर निलंबित किया गया। कस्टम हाऊस एजेंट तस्करी के रैकेट का मास्टर माइंड है।
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