डीआरआइ ने सोना तस्करी के किंगपिन बालाजी पाटिल को गिरफ्तार किया

सिलीगुड़ी डेढ़ महीने की कड़ी मशक्कत के बाद खुफिया राजस्व निदेशालय (डीआरआइ) सिलीगुड़ी की टीम को बड़ी सफलता हाथ लगी है। वर्ष 2021 के सबसे बड़ी छापेमारी मामले की जड़ कुरेदते-कुरेदते डीआरआइ ने सोना तस्करी का किंगपिन माना जाने वाले बालाजी पाटिल को गिरफ्तार कर लिया है। विदेशी सोना तस्करी के आरोप मे उसे मंगलवार सिलीगुड़ी अदालत मे पेश किया गया। जहां से उसे दस दिन की न्यायिक हिरासत मे भेज दिया गया है।

डीआरआइ को बड़ी सफलता, सोना तस्‍कर का किंगपिन गिरफ्तार, सांकेतिक तस्‍वीर।

बताते चलें कि वर्ष 2021 के आखिर मे डीआरआइ सिलीगुड़ी की टीम ने साल का सबसे बड़ी सफल छापेमारी 28 दिसंबर को दर्ज कराई। गुप्त सूचना के आधार पर डीआरआइ की टीम ने बीते वर्ष 28 दिसंबर की दोपहर शहर के हाशमी चौक पर घात लगाकर दो संदिग्ध लोगों को हिरासत मे लेकर तलाशी ली तो इनके पास से 2 किलो 677 ग्राम सोना बरामद हुआ। इनके नाम बब्लू कुमार पासवान (35) और सोनू रजक (31) बताए गए। ये दोनों पड़ोसी राज्य बिहार के निवासी बताए गए। दोनों सोना लेकर बिहार निकलने की फिराक में थे। इनकी निशानदेही के आधार पर डीआरआइ कि टीम ने उसी समय हिलकार्ट रोड स्थित बालाजी टच सेंटर और श्री साई बुलेनिओ एंड मर्चेंट नामक दुकान और गोडाउन मे छापा मारा। दुकान और गोदाम से डीआरआइ ने 4 किलो 596 ग्राम सोना बरामद किया। तस्करी का सोना खरीदने के लिए हाजिर तपन कुमार (31) और प्रकाश विश्वास (42) को को भी डीआरआइ ने गिरफ्तार किया। इस छापेमारी मे सोने के साथ डीआरआइ की टीम ने एक करोड़ एक लाख 38 हज़ार नगद और सात मोबाइल फोन भी जब्त किया था। जब्त सोने की बाज़ार कीमत साढ़े तीन करोड़ रुपये से अधिक आंका गया था।

आरोपित तपन भी बिहार का रहने वाला था, जबकि प्रकाश अलीपुरद्वार जिले का निवासी बताया गया। डीआरआइ सिलीगुड़ी द्वारा की गई छापेमारी वर्ष 2021 की सबसे बड़ा अभियान दर्ज किया गया। अगले दिन 29 दिसंबर को सोना और नगदी के साथ चारों आरोपितों को डीआरआइ ने सिलीगुड़ी अदालत मे पेश किया। इसके बाद बालाजी टच सेंटर और श्री साई बुलेनिओ एंड मर्चेंट के मालिक बालाजी आबासो पाटिल कि तलाश शुरू की। डीआरआइ सूत्रों की माने तो छापेमारी के बाद से ही बालाजी पाटिल फरार हो गया था। फिर डीआरआइ ने इस हाजिर होने के लिए समन जारी किया। समन मे दिये गए समय के मुताबिक बीते सोमवार को बालाजी पाटिल डीआरआइ सिलीगुड़ी कार्यालय मे हाजिर हुआ। घंटो पूछताछ के दौरान डीआरआइ की जांच और उसके बयान मे मिली असंगति के बाद डीआरआइ ने उसे गिरफ्तार किया। डीआरआइ सूत्रों के मुताबिक बालाजी आबासो पाटिल अंतरराष्ट्रीय सोना तस्कर गिरोह का एक अहम कड़ी है। इसी के मार्फत म्यांमार बॉर्डर से होकर सोना भारत मे मंगवाया जाता है। बल्कि सिलीगुड़ी चिकन नेक के रास्ते सिलीगुड़ी, कोलकाता, बिहार, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, महाराष्ट्र आदि स्थानो पर पहुंचने वाले सोने के अधिकांश खेप के पीछे इसी का हाथ होता है।

सौजन्य सेः दैनिक जागरण